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Reading: पंजाब शीत लहर की चपेट में, 5 जनवरी तक ऐसे ही रहेगा मौसम
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पंजाब शीत लहर की चपेट में, 5 जनवरी तक ऐसे ही रहेगा मौसम

The Telescope Times
Last updated: January 2, 2024 3:47 pm
The Telescope Times Published January 2, 2024
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सबसे कम तापमान 7 डिग्री बठिंडा में, सड़कों पर विजिबिलिटी बहुत कम

2023 भारत का दूसरा सबसे गर्म साल रहा, सर्दी भी कड़ाके की पड़ेगी

जालंधर/नई दिल्ली/चंडीगढ़
पंजाब में कई दिन से शीतलहर और घने कोहरे का प्रकोप जारी है। जालंधर- लुधियाना समेत 12 जिले अभी भी घने कोहरे की चपेट में हैं। इनमें कपूरथला, जालंधर, फगवाड़ा, पठानकोट, गुरदासपुर, अमृतसर, तरनतारन, होशियारपुर, नवांशहर और लुधियाना शामिल हैं। शेष जिलों में भी कोहरे और ठंड का अलर्ट है। मौसम विभाग के अनुसार, 5 जनवरी तक ऐसे ही रहेगा मौसम।

Contents
सबसे कम तापमान 7 डिग्री बठिंडा में, सड़कों पर विजिबिलिटी बहुत कम2023 भारत का दूसरा सबसे गर्म साल रहा, सर्दी भी कड़ाके की पड़ेगीदेश के अधिकांश हिस्सों में बारिश के सामान्य से अधिक होने की संभावनाप्रशांत और हिंद महासागर में समुद्र की सतह का तापमान

सबसे कम तापमान 7 डिग्री बठिंडा में नोट किया गया। बाकी शहरों में भी तापमान 9 डिग्री तक ही रहा।

हालांकि स्कूल खुल गए हैं पर अभी भी लोग छोटे बच्चों को घर में ही रख रहे हैं। ओस की बूंदे भी खूब पड़ रही हैं।

सड़कों पर विजिबिलिटी बहुत कम है। कुछ जगह 500 मीटर तक दिखाई दे रहा था पर कुछ स्थानों पर तो 100 मीटर से आगे बिलकुल अंधेरा था।


प्रशासन ने भी अलर्ट जारी किया है कि बच्चों और बूढ़ों को घर से न निकलने दिया जाये।

पूरे देश में हालात ऐसे ही हैं। भारत मौसम विज्ञान विभाग के अनुसार, पिछले साल जितनी ज्यादा गर्मी पड़ी, जनवरी 2024 के दौरान पंजाब, हरियाणा, उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड और राजस्थान समेत कई राज्यों में बारिश के सामान्य से अधिक होने का अनुमान है।

भारत मौसम विज्ञान विभाग (आईएमडी) ने कहा है कि भारत के लिए बीता साल 2023 अब तक का दूसरा सबसे गर्म साल रहा। हालांकि विभाग ने पूर्वानुमान जताया है कि जनवरी के महीने में देश के अधिकांश हिस्सों में बहुत कठोर सर्दी पड़ सकती है। इसका कारण है -अल नीनो प्रभाव।

अल नीनो भूमध्यरेखीय प्रशांत महासागर का एक चक्रीय ताप है, जो दुनिया भर में व्यापक प्रभाव डालता है, जिसमें भारत में मॉनसून की शुरुआत के बाद बारिश की तीव्रता में कमी भी शामिल है। 2016 का सबसे गर्म वर्ष भी अल नीनो वर्ष था।

सर्दी का मौसम यानी जनवरी से मार्च 2024 के दौरान उत्तर भारत के उत्तर प्रदेश, उत्तराखंड, हरियाणा, पंजाब, हिमाचल प्रदेश, जम्मू और कश्मीर, लद्दाख, में सामान्य बारिश होने का पूर्वानुमान है। यहां लंबे समय का औसत (एलपीए) का 86 से 114 फीसदी तक बारिश हो सकती है।

देश के अधिकांश हिस्सों में बारिश के सामान्य से अधिक होने की संभावना

वहीं, जनवरी से मार्च के दौरान पूरे देश में मौसमी वर्षा सामान्य से अधिक होने की संभावना जताई गई है, यानी यहां लंबे समय का औसत (एलपीए) का 112 फीसदी बारिश हो सकती है। भारत के सुदूर दक्षिणी प्रायद्वीप, सुदूर उत्तर पश्चिम और पूर्वोत्तर भारत के कुछ हिस्सों में सामान्य से कम बारिश होने के आसार है, जबकि देश के अधिकांश हिस्सों में बारिश के सामान्य से अधिक होने की संभावना है।

जनवरी 2024 के दौरान, उत्तर भारत के कुछ हिस्सों में न्यूनतम तापमान के सामान्य से कम होने की संभावना है। देश के कई हिस्सों में मासिक न्यूनतम तापमान के सामान्य से ऊपर रहने के आसार हैं। जनवरी 2024 के दौरान मध्य भारत के अधिकांश हिस्सों में शीतलहर वाले दिनों के सामान्य से कम होने की संभावना है।

वहीं, अधिकतम तापमान में बदलाव संबंधी पूर्वानुमान देखें तो, जनवरी 2024 में मध्य और उत्तर-पश्चिम भारत के कई हिस्सों में मासिक अधिकतम तापमान सामान्य से नीचे रहने की संभावना है। भारत के प्रायद्वीप और पूर्वोत्तर के अधिकांश हिस्सों में अधिकतम तापमान सामान्य से अधिक रहने का पूर्वानुमान है।

प्रशांत और हिंद महासागर में समुद्र की सतह का तापमान

मौसम विभाग के अनुसार, वर्तमान में, भूमध्यरेखीय प्रशांत क्षेत्र में मध्यम से तीव्र अल नीनो की स्थिति बनी हुई है और मध्य और पूर्वी भूमध्यरेखीय प्रशांत महासागर के अधिकांश हिस्सों में समुद्र की सतह का तापमान (एसएसटी) औसत से ऊपर है। नवीनतम एमएमसीएफएस पूर्वानुमान से पता चलता है कि आगामी सीजन के दौरान मध्यम से मजबूत अल नीनो की स्थिति के जारी रहने के आसार हैं।

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